#23
बंगाल में दीदी की दहाड़ पर भाई कहीं पड़ ना जाये भाई...80 पर भारी 03...पश्चिम बंगाल में भाजपा की बढ़ रही है टीम...
पश्चिम बंगाल नेताजी की धरती,गुरुवर रवींद्रनाथ टैगोर की भूमि पर कभी लेफ्ट और कांग्रेस के बीच होने वाली राजनीतिक लड़ाई होती थी जिसे ममता बनर्जी ने अपने तीखे तेवरों से कांग्रेस से बगावत कर बनाई गई अपनी तृणमूल कांग्रेस पार्टी बनाम वाममोर्चा कर दी थी ऐसा ही पश्चिम बंगाल में अब कर रही है ।
भारतीय जनता पार्टी यह 294 विधानसभा सीटें हैं जिनमें भारतीय जनता पार्टी महज 3 सीटों पर जीत पाई थी जबकि कांग्रेस युवा मोर्चा को लगभग 80 सीटें मिली पर आजकल पश्चिम बंगाल में ममता बनाम भाजपा है ।ममता बनर्जी भी यदि कोई बयान देती है तो उसमें भाजपा उसका निशाने पर होती है और वही भारतीय जनता पार्टी के निशाने पर राजनीतिक रूप से ममता बनर्जी होती है ।
3 सीटों वाली भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव के बाद अपने तीखे तेवरों से और बांग्लादेशी घुसपैठियों और तृणमूल के द्वारा किए जा रहे अपराध और राजनीतिक कार्यकर्ताओं की हत्या के खिलाफ माहौल बनाने में जबरदस्त सफलता हासिल की है यही कारण है कि ममता बनर्जी नरेंद्र मोदी से बेहद खफा है।
भाजपा ने 23 लोकसभा सीटें जीतने का लक्ष्य तय करके भी सबको हैरान किया है, जबकि अभी उसके दो ही सांसद हैं।
भाजपा ने रूपा गांगुली को राज्यसभा में भेजा है और पिछले दिनों मशहूर अभिनेत्री मौसमी चटर्जी को भी पार्टी में शामिल कराया। कभी ममता के साथी रहे मुकुल रॉय अब भाजपा के लिए जमीन तैयार कर रहे हैं। विष्णुपुर से सांसद सौमित्र खान के भाजपा में शामिल होने के बाद उन्होंने कहा कि 5 टीएमसी सांसद संपर्क में है जो कभी भी मोदी को प्रधानमंत्री बनाने के लिए भाजपा का दामन थाम सकते है।
पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को भारत रत्न देकर और नेताजी सुभाष चंद्र बोस की आजाद हिंद फौज के वेटरन्स को गणतंत्र दिवस की परेड में शामिल कराकर,आजाद हिंद फौज और नेताजी पर लालकिले में म्यूजियम, तीन द्वीपों के नाम नेताजी के अनुकूल करके बांग्ला मानुष को एक मैसेज दिया है। दूसरी ओर तृणमूल कांग्रेस ने भी भाजपा को निशाना बना कर दिखाना चाहा है कि भाजपा ही उसकी दुश्मन नंबर एक है ताकि अल्पसंख्यक खासकर मुस्लिम वोट उसकी झोली में आयें ।कांग्रेस और लेफ्ट को हाशिए में डालने के लिए तृणमूल कांग्रेस इस रणनीति पर काम कर रही है। तभी भाजपा के अध्यक्ष अमित शाह लगातार ममता बनर्जी पर हमले कर रहे हैं और ममता बनर्जी के समर्थक अमित शाह की गाड़ियों पर पथराव कर रहे हैं।
आने वाला वक्त ही बताएगा कि राजनीतिक हिंसा में अपने कार्यकर्ताओं का बलिदान देने वाली और बंग्ला मानुष डॉ श्यामाप्रसाद मुखर्जी द्वारा बनाई गई जनसंघ के नए संस्करण भाजपा को बांग्ला धरती पर स्वीकार किया जाएगा या फिर दीदी की धमक बरकरार रहेगी..
।।शिव।।
बंगाल में दीदी की दहाड़ पर भाई कहीं पड़ ना जाये भाई...80 पर भारी 03...पश्चिम बंगाल में भाजपा की बढ़ रही है टीम...
पश्चिम बंगाल नेताजी की धरती,गुरुवर रवींद्रनाथ टैगोर की भूमि पर कभी लेफ्ट और कांग्रेस के बीच होने वाली राजनीतिक लड़ाई होती थी जिसे ममता बनर्जी ने अपने तीखे तेवरों से कांग्रेस से बगावत कर बनाई गई अपनी तृणमूल कांग्रेस पार्टी बनाम वाममोर्चा कर दी थी ऐसा ही पश्चिम बंगाल में अब कर रही है ।
भारतीय जनता पार्टी यह 294 विधानसभा सीटें हैं जिनमें भारतीय जनता पार्टी महज 3 सीटों पर जीत पाई थी जबकि कांग्रेस युवा मोर्चा को लगभग 80 सीटें मिली पर आजकल पश्चिम बंगाल में ममता बनाम भाजपा है ।ममता बनर्जी भी यदि कोई बयान देती है तो उसमें भाजपा उसका निशाने पर होती है और वही भारतीय जनता पार्टी के निशाने पर राजनीतिक रूप से ममता बनर्जी होती है ।
3 सीटों वाली भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव के बाद अपने तीखे तेवरों से और बांग्लादेशी घुसपैठियों और तृणमूल के द्वारा किए जा रहे अपराध और राजनीतिक कार्यकर्ताओं की हत्या के खिलाफ माहौल बनाने में जबरदस्त सफलता हासिल की है यही कारण है कि ममता बनर्जी नरेंद्र मोदी से बेहद खफा है।
भाजपा ने 23 लोकसभा सीटें जीतने का लक्ष्य तय करके भी सबको हैरान किया है, जबकि अभी उसके दो ही सांसद हैं।
भाजपा ने रूपा गांगुली को राज्यसभा में भेजा है और पिछले दिनों मशहूर अभिनेत्री मौसमी चटर्जी को भी पार्टी में शामिल कराया। कभी ममता के साथी रहे मुकुल रॉय अब भाजपा के लिए जमीन तैयार कर रहे हैं। विष्णुपुर से सांसद सौमित्र खान के भाजपा में शामिल होने के बाद उन्होंने कहा कि 5 टीएमसी सांसद संपर्क में है जो कभी भी मोदी को प्रधानमंत्री बनाने के लिए भाजपा का दामन थाम सकते है।
पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी को भारत रत्न देकर और नेताजी सुभाष चंद्र बोस की आजाद हिंद फौज के वेटरन्स को गणतंत्र दिवस की परेड में शामिल कराकर,आजाद हिंद फौज और नेताजी पर लालकिले में म्यूजियम, तीन द्वीपों के नाम नेताजी के अनुकूल करके बांग्ला मानुष को एक मैसेज दिया है। दूसरी ओर तृणमूल कांग्रेस ने भी भाजपा को निशाना बना कर दिखाना चाहा है कि भाजपा ही उसकी दुश्मन नंबर एक है ताकि अल्पसंख्यक खासकर मुस्लिम वोट उसकी झोली में आयें ।कांग्रेस और लेफ्ट को हाशिए में डालने के लिए तृणमूल कांग्रेस इस रणनीति पर काम कर रही है। तभी भाजपा के अध्यक्ष अमित शाह लगातार ममता बनर्जी पर हमले कर रहे हैं और ममता बनर्जी के समर्थक अमित शाह की गाड़ियों पर पथराव कर रहे हैं।
आने वाला वक्त ही बताएगा कि राजनीतिक हिंसा में अपने कार्यकर्ताओं का बलिदान देने वाली और बंग्ला मानुष डॉ श्यामाप्रसाद मुखर्जी द्वारा बनाई गई जनसंघ के नए संस्करण भाजपा को बांग्ला धरती पर स्वीकार किया जाएगा या फिर दीदी की धमक बरकरार रहेगी..
।।शिव।।
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